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नए आर्मी चीफ लेफ्टिनेंट जनरल ‘मनोज मुकुंद नरवणे’ के बारे में जानिए।

Lubna

Ashish Urmaliya || Pratinidhi Manthan 

साल2022 तक आर्मी चीफ के रूप में देश को अपनी सेवाएं देंगे। Lieutenant General ManojMukund Naravane वर्तमान आर्मी चीफ बिपिन रावत के बाद सेना के सबसे सीनियर अधिकारीहैं (वर्तमान में उप सेना प्रमुख हैं)।

देशवर्तमान आर्मी चीफ बिपिन रावत 31 दिसंबर को सेवानिवृत्त होने जा रहे हैं। लेफ्टिनेंटजनरल एमएम नरवणे को वरिष्ठता और अनुभव के आधार पर अगला आर्मी चीफ चुना गया है। सेनाप्रमुख बनाये जाने के बाद एम.एम. नरवणे ने कहा कि इस फैसले का मुझे लम्बे अरसे से इंतजारथा। मेरे लिए ये काफी गर्व की बात है कि मुझे इस जिम्मेदारी के योग्य समझा गया, मैंकाफी खुश हूं। मैं इस जिम्मेदारी को पूरी निष्ठा से निभाने की कोशिश करूंगा।

तो आइये हमारे आगामी आर्मी चीफ के बारे में जानते हैं।

लेफ्टिनेंटजनरल एमएम नरवणे महाराष्ट्र के पुणे शहर से ताल्लुक रखते हैं। मां सुधा नरवणे लेखिकाऔर न्यूज़ ब्रॉडकास्टर थीं, पुणे के ऑल इंडिया रेडियो (AIR) से जुड़ी हुई थीं। पिछलेसाल ही उनका निधन हुआ है। और पिता जी मुकुंद नरवणे भारतीय वायुसेना से रिटायर्ड सैनिकथे। स्कूली दिनों में एमएम नरवणे रूचि पेंटिंग और खेल-कूद में हुआ करती थी। पुणे केज्ञान प्रबोधिनी प्रशाला से ही इन्होंने अपनी पढ़ाई पूरी की है।

अब नौकरी लगने के बाद की कहानी की हाइलाइट्स पर नजर डाल लेते हैं।

इसीसाल 1 सितंबर को इन्होंने भारतीय सेना के उप प्रमुख का पदभार संभाला था। इसके पहलेवे सेना के उत्तरी कमांड के प्रमुख थे। एक सैनिक के रूप में 4 दशक तक देश को अपनी सेवाएंदेने वाले नरवणे ने सेना में कई तरह की चुनौतीपूर्ण ज़िम्मेदारियों का निर्वहन कियाहै। कश्मीर से लेकर उत्तरपूर्वी राज्यों जैसे संवेदनशील क्षेत्रों में इन्होंने अपनीतैनाती के दौरान आतंकी गतिविधियां रोकने में अहम भूमिका निभाई है। साल 1987 में श्रीलंकामें ऑपरेशन पवन के दौरान पीस कीपिंग फोर्स का हिस्सा भी रह चुके हैं।

–भारतीय सेना में अपने उत्कृष्ट कार्यों के लिए इन्हें परम विशिष्ट सेवा मेडल एवं अतिविशिष्ट सेवा मेडल से भी सम्मानित किया जा चुका है।

–लेफ्टिनेंट जनरल नरवणे जम्मू-कश्मीर में राष्ट्रीय राइफल्स बटालियन और पूर्वी मोर्चेपर इन्फेंट्री ब्रिगेड की कमान संभाल चुके हैं।

–नागालैंड में असम राइफल्स के इंस्पेक्टर जनरल भी रह चुके हैं।

–राष्ट्रीय रक्षा अकादमी से पास आउट भी हैं।

–जून 1980 में सिख लाइट इन्फैंट्री रेजिमेंट की 7वीं बटालियन में शामिल हुए।

–इन्हें सेना में रहते हुए सबसे चुनौतीपूर्ण क्षेत्रों में कार्य करने का अनुभव प्राप्तहै।

जानकारीहो, कि आर्मी चीफ 62 साल की उम्र तक या फिर इस पद पर 3 साल तक काम करने के बाद रिटायरहोते हैं। अटकलें हैं, कि वर्तमान आर्मी चीफ बिपिन रावत को 31 दिसंबर के बाद चीफ ऑफ़डिफेन्स स्टाफ बनाया जा सकता है। यह एक नया पद है जिसकी घोषणा प्रधानमंत्री मोदी नेइसी साल के स्वतंत्रता दिवस के अपने भाषण में की थी।

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